लड़कियों के बारे में इतनी गंदी सोच। घिन आती है। जब खुद को मॉडर्न समाज का समझने वाल लोग भी उनके छोटे कपड़ों से उनकी चरित्र को नापना शुरू कर देते हैं। नेताओं के बयान तो और दिल दुखा देते हैं। लड़कियों के साथ जब भी बदसलूकी होती है या दुष्कर्म जैसी वीभत्स घटना भी हो जाती है तो ये नेता ऐसा बयान देते हैं जैसे ये लड़कियों को उपभोग का वस्तु ही समझते हैं। ताजा मामला है सपा नेता अबू आजमी का। अबू आजमी ने लड़कियों के बारे में जो बयान दी है उसे सुनकर आपके होश उड़ जाएंगे।
अबू आजमी ने बेंगलुरू में नए साल पर लड़कियों के साथ हुई छेड़छाड़ के मामल पर कहा, , 'अगर कहीं पेट्रोल होगा और आग आएगी तो आग लगेगी ही। शक्कर गिरी होगी तो चींटी वहां जरूर आएगी। मेरी बात से बहुत से लोग नाराज होंगे लेकिन यही सच है।' मतलब यह कि अबू आजमी की निगाह में लड़कियां शक्कर हैं या फिर पेट्रोल हैं। ये तुलना करते हुए अबू आजमी इतना भी नहीं सोचे कि उस रात जब लड़कियों पर हवसी दरिंदे टूट पड़े थे और लड़कियां भाग-भागकर खुद को बचाने में जुटी थीं तो उस पल उन पर क्या बिता होगा। वे बेचारी तो अभी उसी घटनाक्रम से बाहर नहीं आ पाई होंगी कि इस बयान ने उनके मनोबल को और तार-तार कर दिया होगा।
ये पहली बार नहीं है। इससे पहले भी तमाम नेता लड़कियों के मामले पर ऊल-जलूल बयान दे चुके हैं। कोई कह देता है कि बड़े शहरों में छोटी-छोटी घटनाएं होती रहती हैं तो कोई कह देता है कि लड़के हैं गलतियां हो ही जाती हैं। अब ऐसे में इन नेताओं को क्या ही दोष दिया जाए जो कि अपना मुंह खोलने से पहले थोड़ा सोचते भी नहीं हैं।